किसानों को मिला 12 लाख रु का पुरस्कार, और पैदावार बढ़ाने की जानकारी, बागवानी महोत्सव 2025 में रहा किसानों का जलवा

बागवानी महोत्सव 2025 में किसानों को कई फायदे मिले। जिसमें पुरस्कार से लेकर पौधों की बिक्री से कमाई और खेती से मुनाफा लेने की ट्रिक। चलिए जानते है कैसा रहा किसानों का बागवानी महोत्सव 2025 .

बागवानी महोत्सव 2025

किसानों की आर्थिक मदद करने के लिए केंद्र-राज्य सरकार की तरफ से कई तरह की योजनाएं चलाई जा रही है। इसके आलावा खेती के लिए प्रोत्साहित करने और अधिक उपज लेने के लिए कार्यक्रम आयोजित किये जाते है, कृषि मेले लगाए जाते है। जिसमें आज हम बात कर रहे बागवानी महोत्सव 2025 की जिसमें किसानों मजे ही मजे रहे। बता दे कि 50 लाख रु के यहाँ पौधे बिके और पुरस्कार मिला।

बागवानी महोत्सव 2025, 3 दिन तक चला। यह बिहार सरकार, कृषि विभाग द्वारा गांधी मैदान पटना में आयोजित किया गया है। जिसमें बागवानी से जुडी योजना की जानकारी भी दी गई और छत पर बागवानी योजना के लिए 150 से ज्यादा ही किसानों ने आवेदन किया। यहाँ पर किसानों ने जिन 50 लाख रु के पौधों की बिक्री की और फूलों के पौधे थे। जिसमें गेंदा, गुलाब, मनी प्लांट, एंथेरियम और पंसटिया आदि के अधिक थे। यानी कि यहाँ पर किसानों को बड़ा फायदा हुआ।

किसानों को मिला 12 लाख रु का पुरस्कार

इस महोत्सव में प्रतियोगिता भी हुई। जिसमें जीतने वाले किसानों को अच्छा इनाम मिला है। बता दे कि कृषि मंत्री मंगल पांडेय ने विजेताओं को परस्कार दिए। जिसमें भागलपुर के किसान आगे थे, इसके बाद पटना और वैशाली के किसान आते है। यहाँ पर कुल 297 विजेता रहे, जिन्हे 12 लाख रु का पुरस्कार मिला है। जिससे किसान खुश दिखाई दिए। तभी मंत्री जी ने कहा कि ऐसा मेला साल में दो बार लगे तब बढ़िया हो, किसानों का मनोबल ऊँचा हो। इस तरह सरकार किसानों की आमदनी बढ़ाने के लिए बागवानी की तरह उन्हें आकर्षित कर रही है।

किसानों को मिला प्रशिक्षण

किसानों को सम्मान पुरस्कार देने के साथ उन्हें खेती से अधिक उपज लेने का तरीका भी सिखाया। कृषि विशेषज्ञों ने किसानों को बताया कि कैसे वह बदलते वातावरण के अनुसार खेती करें, जिससे हर हाल में उन्हें फायदा हो। इसके साथ ही फसलों का उत्पादन बढ़ाने का प्रशिक्षण भी किसानों को मिला। जिससे उनकी आय में वृद्धि हो।

इस महोत्सव में 788 किसानों ने 100 स्टाल लगाएं जिसमें 1200 से भी ज्यादा उत्पाद प्रदर्शित किया। जिसमें उन्होंने कृषि उत्पादों की प्रदर्शनी और नर्सरी के साथ-साथ बीज आदि भी लाया। यहाँ पर कुछ सजावटी पौधे भी रखे गए थे। इतना ही नहीं किसानों ने मधु और मखाना का भी स्टॉल लगाया गया था। जिससे किसानों को यहाँ से 25 लाख रु की कमाई हुई। यह महोत्सव रविवार को खत्म हुआ जिसमें पूरे तीन दिनों में कुल 2 लाख लोग सम्मिलित हुए। यहाँ किसानों को कुछ नया सीखने को मिला।

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